ऐक्टर ने फिल्म 'जोकर' के लिए बेस्ट ऐक्टर का जीत लिया। यह उनका पहला ऑस्कर अवॉर्ड है। 2019 में आई इस फिल्म ने दुनियाभर में सुर्खियां बटोरी थीं। टाइटल रोल में वॉकिन फिनिक्स छा गए थे। हालांकि ऑस्कर जीतने के बाद फिनिक्स ने जो स्पीच दी है, उसके बाद वह कहीं और ज्यादा प्यार और सम्मान के हकदार बन गए हैं। फिल्मी पर्दे के 'जोकर' ने कमाल कर दिया। जब ऑस्कर लेने के बाद फिनिक्स ने स्पीच की शुरुआत की, सभी लोगों ने ताली बजाकर उनका स्वागत किया। जब उनकी स्पीच खत्म हुई, पूरा हॉल तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज रहा था। 'प्यार से ही चीजें बदलेंगी' फिनिक्स की बातों में बेहद ईमानदारी दिखी। वह सादगी दिखी, जिसके लिए वह जाने जानते हैं। उन्होंने दुनिया में शांति बनाए रखने की अपील अपने ही अंदाज में की। उन्होंने अपने भाई के उन शब्दों को सबके सामने रखा, जो उन्होंने तब लिखा था जब फिनिक्स सिर्फ 17 साल के थे। फिनिक्स ने कहा कि प्यार से ही चीजें बदल सकती हैं।' 'दूसरों का सहयोग सबसे बड़ी मानवता' इस महान ऐक्टर ने बहुत ही सादगी से यह स्वीकार किया कि वह अपने जीवन में बहुत ही स्वार्थी रहे हैं। मैंने लोगों को कई बार दुख भी पहुंचाया है। लेकिन मैं आप सभी को शुक्रिया कहना चाहूंगा कि आपने मुझे दोबारा एक मौका दिया है, बदलने का। कुछ बेहतर करने का। फिनिक्स ने कहा कि जब हम एक-दूसरे का सहयोग करते हैं तभी सही मायने में हम आगे बढ़ते हैं। दूसरों का सहयोग करना ही सबसे बड़ी मानवता है। रोजी-रोटी के लिए ये काम भी किए बता दें कि 45 साल की उम्र में ही उन्होंने वह स्टारडम और सम्मान हासिल कर लिया है, जो बहुत से लोगों के लिए आज भी एक सपने जैसा ही है। वॉकिन फिनिक्स को बचपन से ही आर्थिक दिक्कतों का सामना करना पड़ा। वॉकिन फिनिक्स के चार भाई-बहन थे। रोजी-रोटी कमाने और परिवार की आर्थिक मदद करने के लिए सभी भाई-बहनों ने कई तरह के काम करने शुरू कर दिए। वे टैलंट कॉन्टेस्ट में हिस्सा लेते, गाना गाते यहां तक कि म्यूजिकल इंस्ट्रूमेंट्स भी बजाते। सोचते कि कहीं किसी तरह से पैसे आ जाएं तो गुजर-बसर हो जाए।
No comments:
Post a Comment